कविराज चौहान. सोलन ,
25 प्रभावित परिवारों ने लिया बैठक में हिस्सा
आपदाग्रस्त लोगों ने गठित की सोसायटी अनिता को बनाया प्रधान, डॉ. कामेश्वर बने महासचिव
शामती में गांव बलाणा में 8-7.23 से 11.7 23 के दौरान हुई आपदा से क्षतिग्रस्त फ्लैटों/ मकानों के परिवारों के सदस्यों की एक बैठक आयोजित हुई। इस बैठक में लगभग 25 परिवारों के सदस्यों ने भाग लिया। इस आपदा से ग्रस्त लोगों की एक सोसायटी बनी है जिसके प्रधान अनीता, उपप्रधान वीर सिंह, महासचिव डॉ. कामेश्वर शर्मा व कोषाध्यक्ष वंदना मेहता व आशा मेहता को कार्यकारिणी सदस्यों को सर्व सम्मति से जिम्मेवारी सौंपी गई है।
इन मुद्दों पर हुई चर्चा
बैठक में प्राकृतिक आपदा से ग्रस्त परिवारों को फौरी राहत के तौर पर सरकार द्वारा एक लाख पैंतालीस हजार रुपए (145000) एक प्रति परिवार राहत राशि के तौर पर प्रदान किए गए। इसके लिए सोसायटी ने सरकार व प्रशासन का आभार जताया। सरकार से आग्रह है कि कुछ परिवारों को यह फौरी राहत की राशि कम मिली है, उन्हें शीघ्रातिशीघ्र फौरी राहत प्रदान की जाए।
बेघर आपदाग्रस्त को मिले भूमि
सोसायटी द्वारा 317.23 को जिला उपायुक्त को एक माँग पत्र सौंपा था जिसमें सरकार से आपदा ग्रस्त लोगों की समस्याओं जैसे-बेघर आपदा ग्रस्त लोगों को आवास बनाने के लिए भूमि प्रदान करने बारे, क्षति ग्रस्त मकानों के परिवारों को मुआवजा राशि प्रदान करने बारे विभिन्न बैंको या वित्तीय संस्थाओं से इन पीडि़त परिवारों द्वारा लिए गए लोन को माफ करने बारे और क्षतिग्रस्त लोगों की जमीन को तबादले के तौर पर कही सुरक्षित जगह पर भूमि-प्रदान करने बारे इत्यादि ज्वलंत मुद्दे शामिल थे। जिला उपायुक्त ने आश्वस्त किया था कि सोसायटी की मांगों को जल्द ही सरकार तक पहुंचाया जाएगा। और यथासंभव सहायता प्रदान की जाएगी। ग्राम पंचायत कोठों (शामती) ने पूर्णत: क्षतिग्रस्त फ्लैटों के मालिकों को कॉमन पूल से जमीन देने के लिए एनओसी दे दी है। सोसायटी का सरकार व प्रशासन से यह विशेष आग्रह है शीघ्र कदम उठाएं और आपदा पीडि़त परिवारों सहायता हेतू जमीन देने के आदेश निकाले जाएं।
बैठक में चर्चा करके सभी सदस्यों ने सहमति व्यक्त कि प्राकृतिक आपदा, से से पीडि़त लोग मानसिक परेशानी से जूझ रहे हैं। सरकार व प्रशासन इस दिशा में जल्द समस्यों के निवारण एक महीने हेतू कदम उठाए। सोसायटी ने आशा व्यक्त की है कि 200 बीघा जमीन पर आपदा से पीडि़त लगभग 50 परिवार जो इस समय अति संवेदनशील जीवन व्यतीत करने के साथ मानसिक रूप से परेशान हैं। इनकी समस्याओं को प्राथमिकता प्राथमिकता प्रदान करते हुए समस्याओं का निवारण किया जाएगा। हम सरकार व प्रशासन के सदैव आभारी रहेंगे।
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